





आजमगढ़ जिले में 19 अप्रैल को कोरोना की जांच में कई दिनों बाद एक की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। हालांकि 1211 लोग नेगेटिव भी मिले हैं। चक्रपानपुर में स्थित राजकीय मेडिकल कालेज एवम सुपर फैसिलिटी हॉस्पिटल के नोडल अधिकारी डा. दीपक पांडेय ने बताया कि अस्पताल प्रशासन ने कोरोना से निपटने की तैयारी कर ली है। इसके लिए अधिग्रहित क्षेत्र में 30 बेड का कोविड वार्ड बनाया गया है। यहां आने वाले सभी गंभीर मरीजों को पहले इमरजेंसी वार्ड में रखा जाएगा। वहां से सभी का सैंपल लेकर जांच के लिए भेजा जाएगा जिसकी रिपोर्ट पाजिटिव आएगी उसे अधिग्रहित क्षेत्र में बने कोविड वार्ड में भेज दिया जाएगा। बाकी मरीजों को उनकी जरूरत के अनुसार वार्डों में शिफ्ट किया जाएगा। उन्होंने यह भी बताया की कोविड मरीजों की निरंतर शून्य संख्या को देखते हुए कोविड वार्ड खत्म कर दिया गया था। पहले यहां आने वाले सभी मरीजों को पहले अधिग्रहित क्षेत्र में रखा जाता था और वहां से कोरोना की जांच के बाद संबंधित वार्ड में भेजा जाता था। इससे उन मरीजों को समस्या होती थी, जो गंभीर होते थे। कारण कि यह क्षेत्र अस्पताल के मुख्य भवन से दूर है। अब अस्पताल परिसर की बिल्डिग के इमरजेंसी को ही अधिग्रहित क्षेत्र बनाए जाने से मरीजों को जांच से लेकर भर्ती कर इलाज कराने में सहूलियत मिलेगी। हालांकि, जिले में तो अभी चौथी लहर का असर नहीं है, लेकिन देश की राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली सहित एनसीआर क्षेत्र में फिर से कोरोना संक्रमण धीरे-धीरे बढ़ने लगा है। इसे ध्यान में रखते हुए राजकीय मेडिकल कालेज प्रशासन ने एहतियात के तौर पर 30 बेड के कोरोना वार्ड की व्यवस्था कर रखी है। अस्पताल परिसर की इमरजेंसी वार्ड को अधिग्रहित क्षेत्र के रूप में इस्तेमाल करने से गंभीर व वृद्ध मरीजों को चिकित्सा सुविधा लेने में आसानी होगी। अभी तक यहां एक भी कोविड का मरीज नहीं है, लेकिन किसी भी आपात स्थिति से निपटने को मेडिकल कालेज प्रशासन पूरी तरह तैयार है।